Annu Rani के पास उतने पैसे नहीं थे जिससे वे एक अच्छा भाला खरीद सकें, इसलिए उनके परिवार ने उन्हें बॉस का सुझाव दिया और अन्नु ने बॉस को ही भाला समझकर अपनी प्रयास जारी रखी और बन गयी देश की शान।
Highlights
Annu Rani का जन्म और प्रारंभिक जीवन
Annu Rani का जन्म 28 अगस्त 1992 को उत्तर प्रदेश के मेरठ में हुआ था। वे एक भारतीय भाला फेंक (Javelin Throw) एथलीट हैं और वर्तमान में भाला फेंकने का राष्ट्रीय रिकॉर्ड अन्नु के नाम है। अन्नु ने पहली भारतीय महिला बनकर 60 मीटर से अधिक की दूरी तक भाला फेंका और 2019 के नेशनल चैंपियनशिप में 62.34 मीटर भाला फेंककर नया रिकॉर्ड बनाया।
अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में स्वर्ण पदक
भारत की स्टार एथलीट Annu Raniने हाल ही में संपन्न हुई अंतरराष्ट्रीय एथलेटिक्स प्रतियोगिता में शानदार प्रदर्शन करते हुए स्वर्ण पदक जीता। उनके इस ऐतिहासिक जीत ने पूरे देश में जश्न का माहौल बना दिया है।
Mirabai Chanu: जानिए लकड़ी बीनने वाली लड़की कैसे बनी देश की शान
Annu Rani का एथलेटिक्स में योगदान
Annu Rani हमेशा से ही भारतीय एथलेटिक्स की उम्मीदों की धुरी रही हैं। ओलंपिक में अपने शानदार प्रदर्शन के बाद से ही उन्हें देश भर में जबरदस्त समर्थन मिल रहा है। इस जीत के साथ उन्होंने एक बार फिर साबित कर दिया है कि वह भारतीय एथलेटिक्स की सबसे बड़ी स्टार हैं।
कोच और साथी खिलाड़ियों का समर्थन
कोच और साथी खिलाड़ियों ने अन्नु की इस जीत पर उन्हें बधाई दी है। उन्होंने कहा कि अन्नु की मेहनत और लगन ने ही उन्हें इस मुकाम तक पहुंचाया है। अन्नु ने अपनी जीत का श्रेय अपने कोच, परिवार और प्रशंसकों को दिया है।
Annu Rani का शुरुआती सफर
उत्तर प्रदेश के बहादुरपुर में 28 अगस्त 1992 को जन्मीं Annu Rani किसान परिवार से हैं। बचपन में भाई-बहनों के साथ खेले जा रहे क्रिकेट मैच में उनकी ताक़त को उनके भाईयों ने पहचाना और उनका समर्थन किया। अन्नु के भाईयों ने गन्ने को भाले की शक्ल देते हुए उन्हें भाला फेंकने का प्रयास करने को कहा।
Aman Sherawat: 11 साल कि उम्र में खो दिया था माँ बाप लेकिन आज है देश की शान
परिवार का समर्थन
Annu Rani के पिता जी ने शुरू में इस बात की सहमति नहीं दी कि उनकी बिटिया गांव से कुछ हटके करे, लेकिन अपने सपनों की जिद के आगे अन्नु ने अपने पिता को मना लिया। अन्नु के पास उतने पैसे नहीं थे जिससे वे एक अच्छा भाला खरीद सकें, इसलिए उनके परिवार ने उन्हें बॉस का सुझाव दिया और अन्नु ने बॉस को ही भाला समझकर अपनी प्रयास जारी रखी।
स्कूल में पहला प्रदर्शन
Annu Rani ने अपनी गरीबी और लाचारी को कभी अपने सपनों के बीच नहीं आने दिया। स्कूल में 25 मीटर दूर तक भाला फेंकने के बाद उनके घरवालों को यकीन हो गया कि उनकी बिटिया देश के लिए एक दिन नाम रोशन करेगी।
गोल्ड जीतने की बारी
Annu Rani आगामी ओलिंपिक 2024 में जावेलिन थ्रो के लिए पेरिस पहुंच चुकी हैं। हाल ही में हांगझोऊ में गोल्ड मेडल जीतकर उन्होंने इतिहास रच दिया है। अन्नु रानी भारत के लिए नीरज चोपड़ा के बाद दूसरी ऐसी खिलाड़ी हैं जिन्होंने भाला फेंककर देश के लिए पदक जीता है।
Tulika Maan: जाने कैसे बानी एक कांस्टेबल की बेटी जुडो कि बादशाह
प्रेरणा के स्रोत
Annu Rani ने इंटरव्यू में बताया है कि वे क्रिस्टियानो रोनाल्डो और माइकल फेल्प्स से प्रेरित होती हैं। रोनाल्डो से उन्हें जीत की उम्मीदें और दुनिया को अपनी मुट्ठी में करने की प्रेरणा मिलती है, जबकि माइकल फेल्प्स से कभी ना हार मानने की जिद को देखकर उन्हें अपने खेल में कुछ भी हो सकने की उम्मीद बनी रहती है।
Annu Rani रानी का संदेश
Annu Rani का मानना है कि सही मेहनत और लगन से किसी भी लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है। उनके इस शानदार प्रदर्शन ने साबित कर दिया है कि भारतीय खिलाड़ी किसी से कम नहीं हैं। आने वाले समय में अन्नु और अन्य भारतीय एथलीट देश के लिए और भी कई पदक जीतेंगे।
Sarvesh Kushare: नौकरी छोड़ कैसे पूछे ओलिंपिक तक
Anush Agarwalla: कैसे बने घुड़सवारी के दीवाने